उत्तर प्रदेश में कोविड-19 किट घोटाला सामने आया है सरकार ने घर-घर कोरोना के सर्वे के लिए पल्स ऑक्सीमीटर और थर्मल स्कैनर खरीदने का जो आदेश दिया उसे तय कीमत से पांच पांच गुना ज्यादा कीमत पर खरीदा गया है. ये आरोप खुद भाजपा के विधायक और पदाधिकारी लगा रहे हैं दो अक्षरों को इस मामले में सस्पेंड किया गया।

देश में किसी महामारी की सबसे बड़ी मुसीबत है जब 45 लाख से ज्यादा लोग इसके शिकार हो गए 76 हजार से ज्यादा मौत के मुंह में चले गए और करोड़ों लोगों की नौकरी चली गई और करोड़ों के काम धंधे बंद हो गए. इस बीमारी के सर्वे के लिए यूपी सरकार ने जो ऑक्सीमीटर थर्मल स्कैनर खरीदने को कहा वो जिलों में पांच पांच गुना महंगे दामों पर खरीदे गए. सुल्तानपुर के बीजेपी एमएलए देवमणि द्विवेदी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को खत लिखकर इस घोटाले की शिकायत की।

सुलतानपुर की डीएम ने कहा कि उनके ऊपर MLA का भ्रष्टाचार का आरोप गलत है. डीएम ने सफाई देते हुए कहा कि माननीय विधायक ने नहीं मुझसे बात की है और ना ही मेरे सीडीएम से कोई फैक्ट को बिना वेरीफाई करते हुए इस तरह का जिला प्रशासन की छवि खराब करने का उद्देश्य से इस प्रकार का आरोप लगाया है.

आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने इसे लेकर ट्वीट किया जिसमें उन्होंने ऑनलाइन शॉपिंग साइट्स की फोटो लगाकर महंगे दाम पर खरीदने पर सवाल उठाए. उन्होंने लिखा- कि योगी जी कृपया ध्यान दें ऑनलाइन खरीदने पर जो ऑक्सीमीटर की कीमत ₹800 और थर्मामीटर की कीमत अट्ठारह सौ है, तो डीएम सुल्तनपुर ने ₹9950 में कोविड-19 सर्वे किट क्यों खरीदा? किसने की दलाली खाई, कोरोना के नाम पर भ्रष्टाचार श्मशान में दलाली के समान है।

यूपी में घर घर कोरोना का सर्वे हो रहा है. हेल्थ वर्कर थर्मल स्कैनर से बुखार पल्स ऑक्सीमीटर से ऑक्सीजन लेवल और नक्श की रफ्तार देख रहे हैं ताकि कोरोना के लक्षण होने पर इलाज हो सके यूपी में एक लाख से ज्यादा गांव है, अगर यह घोटाला ज्यादा हुआ तो यह काफी बड़ा भी हो सकता है।

सोनभद्र में विजयपाई गांव के प्रधान कहते हैं यह उपकरण उन्हें खरीदने थे, लेकिन जिला पंचायत राज अधिकारी ने 637 गांव के लिए यह सारे उपकरण खुद सस्ते खरीद लिया और अब उन्हें कई गुना महंगे दामों पर खरीदने का दबाव बना रहे हैं।

बाराबंकी में आजगना के प्रधान ओमप्रकाश कहते हैं कि उन्हें तो अफसरों ने कोरोना की किट 11 हजार में दी है. अब सीएम योगी आदित्यनाथ ने इन घोटालों कि आरोपों पर एसआईटी की जांच बैठा दी है. इसकी जानकारी सीएम ऑफिस के ट्विटर हैंडल ने भी दी है. इसके पहले आरोप लगे कि जिस कोरोना का किट का सरकार ने ₹28 सौ किया है. उसे सुल्तानपुर में ₹9950 में, प्रतापगढ़ में ₹12500 में, बिजनौर में ₹13500 में, झांसी में ₹8500 में, उन्नाव में ₹6000 में, सहारनपुर में ₹4190 में, गाजीपुर में ₹5800 में खरीदा गया।

अब कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने भी इस मामले ट्वीट कर घोटाले के गंभीर आरोप लगाए हैं उन्होंने लिखा है- न्यूज़ रिपोर्ट्स के मुताबिक उत्तर प्रदेश में कोरोना किट की खरीद में घोटाला हुआ है, क्या पंचायत चुनाव के साल में जिले जिले वसूली केंद्र बना दिए गए हैं. पीपीई कित घोटाला 69K घोटाला, बिजली घोटाला, पहले घोटाला फिर सख्ती का नाटक और फिर घोटाला को दबाना अजीब दास्तां है ये कहां शुरू कहां ख़तम.

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