जाने-माने शायर राहत इंदौरी का मंगलवार को निधन हो गया है। इंदौरी कोरोना से संक्रमित थे और उन्हें आज ही दिल का दौरा पड़ा था। इंदौरी भारत के मशहूर शायरों में से एक थे और उनकी दुनिया भर में भी पहचान थी। 

कोरोना से संक्रमित होने के बाद 70 साल के इंदौरी को सोमवार रात को अस्पताल में भर्ती कराया गया था। राहत इंदौरी ने इस बारे में ट्वीट कर जानकारी दी थी। उन्होंने लिखा था, ‘अरबिंदो हॉस्पिटल में भर्ती हूं, दुआ कीजिये जल्द से जल्द इस बीमारी को हरा दूं।’ 

राहत इंदौरी का जन्म इंदौर में 1 जनवरी, 1950 को हुआ था। उनकी शुरुआती शिक्षा नूतन स्कूल, इंदौर में हुई थी और इसलामिया करीमिया कॉलेज, इंदौर से 1973 में स्नातक की पढ़ाई पूरी की थी। इंदौरी साहब ने 1975 में बरकतउल्लाह विश्वविद्यालय, भोपाल से उर्दू साहित्य में एमए किया था। 

शायरी के अलावा राहत इंदौरी अपनी गजलों के लिए भी जाने जाते थे। डाॅ. राहत इंदौरी के शेर व्यवस्था को आइना भी दिखाते हैं। एक शेर में वह कहते हैं- तूफ़ानों से आंख मिलाओ, सैलाबों पर वार करो, मल्लाहों का चक्कर छोड़ो, तैर के दरिया पार करो। एक दूसरे शेर में वह कहते हैं- हम से पहले भी मुसाफ़िर कई गुज़रे होंगे, कम से कम राह के पत्थर तो हटाते जाते। 

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